राजगीर (नालंदा) : पवित्र मकर संक्रांति पर राजगीर के गर्म कुंड में आस्था की डुबकी लगाने वालों का तांता मंगलवार को भी लगा रहा। तड़के चार बजे से ही श्रद्धालुओं का जनसैलाब उमड़ना शुरू हो गया। महिलाओं की भारी भीड़ ने इस पावन अवसर को और भी भव्य बना दिया।
पुण्य स्नान का विशेष महात्म्य
वर्षों बाद मकर संक्रांति पर बन रहे पुष्य नक्षत्र के दुर्लभ संयोग ने इस बार के स्नान को और भी विशेष बना दिया। ज्योतिषाचार्यों के अनुसार दोपहर 2:58 बजे सूर्य के मकर राशि में प्रवेश के साथ ही खरमास का समापन हो गया।
तिलकुट की मिठास से महका बाजार
त्योहार की मिठास बाजारों में भी देखने को मिली। सोहसराय से लेकर रामचंद्रपुर तक तिलकुट की दुकानों पर खरीदारों की भीड़ उमड़ी। कागजी मोहल्ला, पुलपर बाजार और चौक बाजार में दुकानों की रौनक देखते ही बनती थी।
दो तीर्थों में एक साथ पुण्य स्नान
जहां तीर्थराज प्रयाग में कुंभ का शाही स्नान हो रहा है, वहीं राजगीर के ब्रह्म कुंड में संत समागम स्नान का अनूठा संगम देखने को मिला। श्रद्धालुओं ने परिवार सहित स्नान-पूजा के बाद खिचड़ी-चोखा का प्रसाद ग्रहण कर पर्व की पूर्णता की।
मांगलिक कार्यों का शुभारंभ
सूर्य के उत्तरायण होने के साथ ही अब विवाह समेत सभी शुभ मांगलिक कार्य प्रारंभ हो जाएंगे। गृह प्रवेश, मुंडन और जनेऊ जैसे संस्कार भी अब किए जा सकेंगे।
देखें राजगीर कुंड से जुड़ी तस्वीरे।